फिर खतरे में आई जिला परिषद अध्यक्ष कुमारी स्तुति की कुर्सी, ये बड़ी वजह आई सामने
पटना। Patna Zila Parishad Election: प्रमंडलीय आयुक्त कुमार रवि ने वर्तमान जिला परिषद अध्यक्ष कुमारी स्तुति के विरुद्ध धारा 70 (5) के तहत विधि सम्मत कार्रवाई करने की अनुशंसा पंचायती राज विभाग से की है। आदेश में स्पष्ट कहा गया है कि निवर्तमान जिलाध्यक्ष द्वारा दिया गया स्पष्टीकरण प्रथमदृष्टया विधि सम्मत नहीं है।
प्रमंडलीय आयुक्त ने बताया कि पंचायतीराज विभाग को आगे की कार्रवाई करनी है। बता दें कि पूर्व जिला परिषद अध्यक्ष सह सदस्य अंजू देवी ने पंचायतीराज अधिनियम के तहत प्रमंडलीय आयुक्त के यहां वाद दायर कर आरोप लगाया था कि जिलाध्यक्ष कुमारी स्तुति निर्वाचन के समय से अधिनियम के सुसंगत प्रावधानों के विपरीत अपनी इच्छा से जिला परिषद अध्यक्ष की शक्ति का उपयोग कर रही हैं। तीन माह में बैठक बुलाना अनिवार्य है, छह अगस्त 2022 के बाद बैठक नहीं बुलाई गई है।
सामान्य बैठक में बजट पारित होने के बाद ही राशि खर्च की जाती है, लेकिन बजट पारित कराए बिना ही राशि खर्च की गई है, जो वित्तीय अनियमित्ता है। कुमारी स्तुत से बात करने का प्रयास किया गया पर उनका मोबाइल स्विच आफ बता रहा है।
अविश्वास प्रस्ताव पर मार्गदर्शन आना अभी है बाकी
पटना जिला परिषद अध्यक्ष कुमार स्तुति पर पटना उच्च न्यायालय के निर्देश पर अविश्वास प्रस्ताव 10 फरवरी को लाया गया। न्यायालय ने निर्देश दिया था कि अविश्वास प्रस्ताव के दौरान मैजूद सदस्य मतदान में भाग लेंगे और तय करेंगे। 45 सदस्यीय जिला परिषद में एक पद रिक्त है। 44 सदस्यों में से जिला परिषद अध्यक्ष सहित 22 सदस्य अविश्वास प्रस्ताव पर होने वाले मतदान में भाग लिया।
मतदान के दौरान जिला परिषद अध्यक्ष कुमारी स्तुति बैठक का वहिष्कार कर मतदान के दौरान कक्ष से बाहर निकल गईं थीं। अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में हुए मतदान में 21 सदस्यों ने भाग लिया, इसमें 19 अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में मत दिए तथा दो ने सादा पेपर डाल दिया।
कुमारी स्तुति पुन: बैठक में उपस्थित हुई थीं। अविश्वास प्रस्ताव कुमारी स्तुति के विरुद्ध चला गया था। कुमारी स्तुति ने अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में 23 सदस्य नहीं होने का हवाला देकर पुन: कुर्सी पर दावा कर दिया। ऐसी स्थिति में निर्वाचन आयोग और पंचायतीराज विभाग से जिलाधिकारी ने मार्गदर्शन मांगा है।