चंदौली। धानापुर थाने की पुलिस टीम ने जांच के दौरान नगवा स्थित पीपा पुल के समीप से एक संदिग्ध व्यक्ति को दबोच लिया। इस दौरान हिरासत में लिए गए व्यक्ति के पास मौजूद बैग के अंदर से 3.75 लाख की फेक करेंसी और एक प्रिंटर बरामद हुआ।
वहीं पूछताछ के दौरान आरोपी ने बताया कि नकली नोट की छपाई करने के बाद उसे बाजार में खपा देता हैं। इस मामलों में उसके दो सहयोगी जेल में हैं। लेकिन वह पुलिस को चकमा देकर काफी दिनों ने फरार चल रहा था। आरोपी के गिरफ्तारी और बरामदगी का खुलासा एएसपी विनय कुमार ने गुरुवार को पुलिस लाइन में किया
उन्होंने बताया कि 3 फरवरी को धानापुर थाने की पुलिस ने 18 लाख की फेक करेंसी के साथ बथावर गांव के अमरेश पाठक और कैलावार के अरविंद यादव को गिरफ्तार किया था। इसी मामले की जांच के बाद बिहार प्रांत के रोहतास जिले बघैला थाना क्षेत्र के गोपाल पांडेय का नाम सामने आया था। ऐसे में पुलिस टीम आरोपी की गिरफ्तारी में जुटी हुई थी। इसी बीच पुलिस को सूचना मिली कि फेक करेंसी के मामले में फरार चल रहा आरोपी नगवा स्थित पीपा पुल के पास मौजूद हैं।
ऐसे में पुलिस ने सक्रियता दिखाते हुए आरोपी को मौके से दबोच लिया। बताया कि पूछताछ के दौरान आरोपी ने बताया कि पहले वह अहमदाबाद में कम्प्यूटर प्रिंटिंग के माध्यम से साड़ी व कपड़े प्रिन्ट व डिजाइन का कार्य करता था। लेकिन कोरोना काल में लॉकडाउन की वजह से फैक्ट्री बन्द हो गयी तो हम लोग घर आ गये। आर्थिक तंगी के कारण हम लोगों ने नकली नोट की छपाई का कार्य आरंभ किया।
इसके बाद छपे हुए नोट को अमरेश और अरविंद के सहयोग से बाजार में खपा देते थे। पुलिस टीम में धानापुर थानाध्यक्ष प्रशांत कुमार सिंह, स्वाट प्रभारी हरिनारायन पटेल, रमेश यादव, रामदयाल, दीपक त्रिपाठी, आशीष कुमार, सर्वेश कुमार, सोनू यादव, भानू यादव, अंकुर खरवार शामिल रहे।