इस पार्टी के सामने अब अस्तित्व बचाने की चुनौती, तीन दशक में मिली लखनऊ की सिर्फ एक सीट……
पूर्वांचल पोस्ट न्यूज नेटवर्क
लखनऊ। राजधानी की नौ विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ा और सभी प्रत्याशियों की जमानत जब्त। यह हाल कभी देश की नंबर एक पार्टी रही कांग्रेस का है। संगठन के अभाव में कांग्रेस का जनाधार चुनाव दर चुनाव लगातार खोता जा रहा है। विधानसभा चुनाव के बाद अब कांग्रेस के सामने इसी साल होने वाले निकाय चुनाव में अस्तित्व बचाने की तगड़ी चुनौती है।
विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के उम्मीदवार दूसरी पार्टियों के आगे कहीं टिक नहीं पाए। प्रियंका वाड्रा का नारा लड़की हूं लड़ सकती हूं भी लखनऊ की तीनों महिला प्रत्याशियों का भाग्य बदल नहीं पाया। मिश्रित आबादी वाली लखनऊ मध्य सीट से कांग्रेस ने एनआरसी राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर मामले में चर्चित रहीं सदफ जाफर को टिकट दिया। लेकिन वह भी खास नहीं कर सकीं। उनको भी तीन हजार से भी कम मत मिले और चौथे स्थान पर रहीं। मोहनलालगंज सुरक्षित सीट से पार्षद ममता चौधरी को आजमाया, लेकिन वह केवल 2,990 वोट ही हासिल कर सकीं। लखनऊ पश्चिम सीट से खड़ी होने वाली शहाना को महज ढाई हजार के करीब ही मत मिले। वह भी चौथे स्थान पर रहीं।