Saturday, April 20, 2024
उत्तर-प्रदेशकानपुर

कारपोरेट अफेयर मंत्रालय ने दी बड़ी छूट, बिना टेस्ट के स्वतंत्र निदेशक बन सकेंगे प्रोफेशनल…..

पूर्वांचल पोस्ट न्यूज नेटवर्क

कानपुर। कारपोरेट अफेयर मंत्रालय ने कंपनियों में स्वतंत्र निदेशक बनाने के मामले में नए आदेश लागू किए हैं। अब चार्टर्ड अकाउंटेंट, कास्ट अकाउंटेंट, कंपनी सचिव और अधिवक्ता जिन्हें 10 वर्ष का अनुभव है। वे बिना लिखित परीक्षा के कंपनियों में स्वतंत्र निदेशक बनने के लिए मंत्रालय के डाटा बैंक में खुद को पंजीकृत कर सकेंगे।

सूचीबद्ध कंपनियों में 50 फीसद स्वतंत्र निदेशक होने चाहिए। इन निदेशकों का कंपनी से कोई वास्ता नहीं होता। इन स्वतंत्र निदेशकों को रखना इसलिए भी अनिवार्य होता है ताकि बोर्ड की बैठकों में निवेशकों के हितों पर वे अपनी बात रख सकें। पहले कंपनियां किसी को भी अपना स्वतंत्र निदेशक बना लेती थीं और बोर्ड बैठक में उनके नाम को पास करा लेती थीं। अक्सर ऐसा होता था कि जिन्हें स्वतंत्र निदेशक बनाया जाता था वे उस योग्य नहीं होते थे।

इसके बाद मंत्रालय ने व्यवस्था दी थी कि स्वतंत्र निदेशक बनने के इश्छुक मंत्रालय की एक परीक्षा देंगे और उसे पास कर मंत्रालय के डाटा बैंक में उनका नाम पंजीकृत करा सकेंगे। इस डाटा बैंक में से कोई भी कंपनी स्वतंत्र निदेशक चुन सकेगी। अब मंत्रालय ने नई व्यवस्था लागू करते हुए 10 वर्ष का अनुभव रखने वाले चार्टर्ड अकाउंटेट, कंपनी सचिव, कास्ट अकाउंटेंट, अधिवक्ता को टेस्ट देने की अनिवार्यता से मुक्त कर दिया है। ये लोग सीधे मंत्रालय के डाटा बैंक में अपना पंजीयन करा सकेंगे।

.10 वर्ष का अनुभव रखने वाले प्रोफेशनल को स्वतंत्र निदेशक बनने के लिए परीक्षा न देने की छूट देना अच्छा निर्णय है। इससे वरिष्ठ प्रोफेशनल की सेवाओं का मान रखा गया है। .आदेश टंडन, चेयरमैन, लीगल कमेटी मर्चेंट चैंबर आफ उत्तर प्रदेश।

.स्वतंत्र निदेशक बनने के लिए जो वरिष्ठ प्रोफेशनल हैं। उनके लिए माना गया है कि उनके पास इतनी जानकारी है कि वह डाटा बैंक में लिए जा सकते हैं। यह उचित निर्णय है। .गोपेश साहू, पूर्व चेयरमैन, कंपनी सचिव संस्थान, कानपुर चैप्टर।

 

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