Tuesday, April 30, 2024
नई दिल्ली

जालंधर में आतंक फैला रहे 70 हजार आवारा कुत्ते, घरों से बाहर निकलने से डर रहे लोग……

जालंधर। छीना झपटी करने वाले स्नेचरों के अलावा महानगर के 70 हजार आवारा कुत्तों का आतंक भी लोगों को भयभीत कर रहा है। आवारा कुत्तों के झुंड सड़कों पर अपना कब्जा जमाए हुए हैं और आने.जाने वाले लोगों के ऊपर हमले बोल रहे हैं। काटने के अलावा आवारा कुत्ते सरेआम घरों में प्रवेश कर रहे हैं और लोगों का सामान तक उठा कर ले जा रहे हैं। महानगर का ऐसा कोई हिस्सा बाकी नहीं बचा है। जिस पर आवारा कुत्तों का कब्जा न हुआ हो।

कुत्तों के आतंक से परेशान है लोग

आवारा कुत्तों का आतंक इस तरह बढ़ चुका है कि लोग बच्चों को घर के बाहर अकेला नहीं भेज रहे हैं और खुद भी बाहर निकलते वक्त हाथ में डंडा इत्यादि पकड़ कर ही जा रहे हैं। आवारा कुत्तों के आतंक के चलते अब डाग बाइट के मामलों में भी इजाफा होने लगा है। केंद्रीय विधानसभा हलका आवारा कुत्तों से सर्वाधिक प्रभावित हालांकि शहर का लगभग प्रत्येक हिस्सा ही आवारा कुत्तों के आतंक से बुरी तरह से परेशान है लेकिन केंद्रीय विधानसभा हलका आवारा कुत्तों से सर्वाधिक प्रभावित नजर आ रहा है।

इन इलाकों में लोग बुरी तरह परेशान

विधानसभा हलके के अंतर्गत आते रामा मंडी, लद्देवाली, चौगिटटी, गुरु नानकपुरा, सिविल लाइंस क्षेत्र, जिला प्रशासकीय परिसर के भीतर एवं आसपास इत्यादि इलाकों में आवारा कुत्ते लोगों को बुरी तरह से परेशान किए हुए हैं। काटने के अलावा गंदगी भी फैला रहे आवारा कुत्ते आवारा कुत्ते लोगों को काटने के अलावा सड़कों पर घरों एवं कामर्शियल कंपलेक्सों के आगे गंदगी भी फैला रहे हैं। आवारा कुत्ते कहीं भी शौच कर रहे हैं, जिसके चलते लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

सड़क दुर्घटनाओं में भी बढ़ोतरी

लोगों के घरों के गेट के आगे ऑफिसों के समक्ष एवं कई स्थानों पर तो सरकारी कार्यालयों के भीतर तक भी कुत्तों को गंदगी फैलाते हुए देखा जा सकता है। सड़क दुर्घटनाओं की वजह भी बन रहे हैं आवारा कुत्ते सड़कों पर दौड़ रहे आवारा कुत्तों के झुंड अब रह गैरों के लिए दुर्घटना की वजह भी बना रहे हैं। आपस में लड़ते हुए कुत्तों के झुंड सड़कों के ठीक मध्य में जा पहुंचते हैं और वाहनों से टकराते हैं। दो पहिया वाहन चालक तो आवारा कुत्तों के टकराने से सड़क पर गिरने की वजह से बुरी तरह से घायल भी हो रहे हैं।

90 फीसद कुत्तों के नसबंदी ऑपरेशन करने का लक्ष्य

29 हजार आवारा कुत्ते बिना नसबंदी के घूम रहे, बढ़ा रहे संख्या एक अनुमान के मुताबिक शहर में 65 से 70 हजार आवारा कुत्ते हैं। लगभग 31 कुत्तों के नसबंदी के आपरेशन किया जा चुके हैं और 29 हजार आवारा कुत्ते अभी भी अपनी संख्या बढ़ाने में योगदान दे रहे हैं। पहले यह नियम बनाया गया था कि 70 फीसद आवारा कुत्तों के नसबंदी आपरेशन किए जाने हैं, लेकिन अब 90 फीसद कुत्तों के नसबंदी ऑपरेशन करने का लक्ष्य निश्चित है। रोजाना 15 से 20 कुत्तों के नसबंदी आपरेशन किया जा रहे।

आठ साल के बाद दिखेगा ऑपरेशन का असर

एनिमल बर्थ कंट्रोल सोसाइटी की ठेकेदार कंपनी की तरफ से डॉक्टर सिमरनजीत सिंह ने बताया कि रोजाना 15 से 20 कुत्तों के नसबंदी आपरेशन किया जा रहे हैं। आपरेशन का असर लगभग आठ वर्ष के अंतराल के बाद नजर आना शुरू होगा। जब अगली पीढ़ी तैयार नहीं होगी और पुराने कुत्ते मर जाएंगे। समिति का कहना है कि आपरेशनों का नगर निगम से लगभग एक करोड़ रुपया बकाया अभी भी पेंडिंग है। दो वर्ष से पैसे नहीं मिले हैं। इससे पहले रोजाना 40 से 50 आपरेशन होते थे। लेकिन अब मात्र 20 ही हो पा रहे हैं।

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