चकियाः खनन माफियाओं के साथ, साथ बेखौफ हो चुके हैं जेसीबी संचालक, जेसीबी संचालकों पर प्रशासन नहीं कर रही कार्रवाई, जो धड़ल्ले से मिट्टी खनन में हो रही उपयोग….जेसीबी संचालकों की भी रहती है पुलिस प्रशासन से गठजोड़…..
रिपोर्ट-उमाशंकर
इलिया, चकिया/चंदौली। क्षेत्र में मिट्टी खनन माफिया तो बदस्तूर अपने कार्यों को अंजाम दे ही रहे हैं। लेकिन इनके साथ साथ क्षेत्र के जेसीबी संचालक भी मनमाना करने पर उतारू हो गए हैं। जेसीबी संचालक शासन के निर्देशों को ताक पर रखकर अपनी जेसीबी अवैध मिट्टी खनन में लगाकर धड़ल्ले से अवैध खनन कार्य करवाने में संलिप्त देखे जा रहे हैं।
स्थानीय तहसील के दर्जनभर गांव से अधिक वर्तमान समय में माफियाओं के साठगांठ से जेसीबी संचालक धड़ल्ले से मिट्टी के अवैध खनन कार्य में संलिप्त देखे जा रहे हैं। फिर भी स्थानीय तहसील प्रशासन सहित पुलिस प्रशासन आंख बंद करके कुंभकरणीय निद्रा में सोई हुई है।
बतादें कि शासन का निर्देश है कि अवैध मिट्टी खनन का कार्य हर हाल में मिट्टी खनन माफिया व जेसीबी संचालक न करें। जो जेसीबी संचालक मनमाना रवैया अपनाते हुए अवैध मिट्टी खनन में जेसीबी चलाता है उसपर तत्काल कार्रवाई करते हुए जेसीबी सीज करने का निर्देश है।
लेकिन यहां दिन रात फल फूल रहे अवैध मिट्टी खनन के कार्य में जेसीबी पुलिस प्रशासन व तहसील प्रशासन के नाक के नीचे चल रही है। फिर भी कार्रवाई नहीं हो रही है। शायद कार्रवाई न होने का ही यह नतीजा है कि जेसीबी संचालक सहित मिट्टी खनन माफिया दिन ब दिन अपने काले कारनामों से काली कमाई को बढ़ाते नजर आ रहे हैं।
यही नहीं मिट्टी लेकर ट्रैक्टर ट्राली आए दिन मुख्य मार्गो से दौड़ रही हैं। ट्रैक्टर चलाने वाले ड्राइवर भी नाबालिग सहित बगैर लाइसेंस धारी बताए जाते हैं। यह ट्रैक्टर ड्राइवर कभी भी दुर्घटना को अंजाम दे सकते हैं। मिट्टी से भरी ट्रैक्टर ट्राली जब रोड पर चलती है तो धूल का गुब्बार भी उड़ता है। जिससे पैदल, साईकिल, बाइक व कार से चलने वाले पूरी तरह परेशान देखे जा रहे हैं।