भाजपा के सामने गढ़ बचाए रखने की चुनौती, इतने साल से एक सीट पर है कब्जा……
पूर्वांचल पोस्ट न्यूज नेटवर्क
आगरा की उत्तर विधानसभा सीट पर 37 साल से भारतीय जनता पार्टी भाजपा का कब्जा है। वैश्य बहुल इस विधानसभा क्षेत्र का परिणाम मुद्दों से ज्यादा वैश्यों के रुख पर निर्भर करता है। इस बार भाजपा ने अपने वर्तमान विधायक पुरुषोत्तम खंडेलवाल को तमाम विरोध दरकिनार करके उतारा है तो वहीं समाजवादी पार्टी सपा से यहां ज्ञानेंद्र गौतम और कांग्रेस के विनोद बंसल तो बहुजन समाज पार्टी बसपा से शब्बीर अब्बास मैदान में हैं। भाजपा को अपने परंपरागत वैश्य वोट बैंक पर भरोसा है तो दूसरे दल इसमें सेंध लगाने की कोशिश में हैं। भाजपा के सामने अपने गढ़ को बचाए रखने की चुनौती है।
1985 में पहलीबार खिला था कमल
शहर की उत्तर विधानसभा सीट पर 1985 में पहली बार कमल खिला था। तभी से लगातार यहां पर भाजपा के उम्मीदवार विजयी होते रहे हैं। इस विधानसभा क्षेत्र में पांच बार जगन प्रसाद गर्ग को विधायक चुना गया। उनके निधन के कारण रिक्त हुई सीट पर 2019 में हुए उप चुनाव में भाजपा के पुरुषोत्तम खंडेलवाल ने सपा के सूरज शर्मा को हराकर जीत हासिल की। इस बार ढाई साल के कार्यकाल में कराए गए विकास कार्यों का हवाला देकर भाजपा प्रत्याशी वोट मांग रहे हैं तो वहीं सपा ने बसपा से यहां भाग्य आजमा चुके ज्ञानेंद्र गौतम को टिकट थमाया है। ज्ञानेंद्र गौतम 2017 में इस सीट से बसपा से जगन प्रसाद गर्ग के खिलाफ चुनाव लड़े थे। लेकिन हार गए थे। कांग्रेस से यहां व्यापारी नेता विनोद बंसल वैश्य मतों में सेंध लगा रहे हैं तो सपा.रालोद और बसपा के प्रत्याशी भी कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं।